स्वागत है

जय भीम 
एक विश्वास के साथ ये MESSAGE आपको लिखा गया है,उम्मीद है उचित सम्मान मिलेगा।  SAJAJJM (समग्र अनुसूचित जाति  अनुसूचित जनजाति महासंघ  ) में आपका स्वागत है। SAJAJJM का प्रयास है की SC / ST समाज एक संगठित ,शिक्षित , शशक्त ,सुरक्षित एवं विकसित समाज बने। संगठित , शिक्षित,शंघर्षशील न होने की वजह से SC/ST समाज विभिन्न प्रकार की कठिनाईयों का सामना कर रहा है और आज भी इस समाज की सामाजिक,आर्थिक स्थिति में कोई खास परिवर्तन नहीं हुआ है। आज भी SC/ST  समाज के प्रति घृणा ,छुआछुत ,भेदभाव ,उत्पीडन बरक़रार है।  जब भी,जहा भी  दुसरे लोगों को मौका मिलता है ,इस समाज पर अत्याचार ,घृणा ,भेदभाव करने से नहीं चुकते।  SC/ST समाज के उत्थान की बातें तो सभी करते हैं , लेकिन इस समाज के नाम पर सिर्फ राजनीति ,घोटाले होते  हैं।  आजादी के इतने  सालों बाद भी  SC/ST समाज  अपने  BASIC NEEDS (रोटी ,कपडा ,मकान ) हेतु ही प्रयास करता नजर आता है। उनके लिए जो स्कूल ,अस्पताल ,अन्य, चलते हैं उसका तो उपरवाला  ही मालिक है । लेकिन यहाँ किसी और को दोष नहीं दिया जा सकता ,क्योकि जो समाज जैसा होता है लोग उसके साथ वैसा ही व्यवहार करते है । आजतक SC/ST समाज के लोगो समझ नहीं आया की दुसरे लोग इस समाज के लोगो के बीच फूट डालो और राज करो वाली निति अपनाते रहें हैं । यही कारण है की SC/ST समाज आजतक संगठित नहीं हो सका । यदि आरक्षण हटा कर इस समाज को  देखा जाय तो  ये समाज पुनः अपने दीनहीन स्थिति में नजर आएगा। 

लेकिन आरक्षण पर भी चोट होने लगी है । क्रिमिलयेर की बातें होने लगी हैं और उसकी आड में आरक्षण के सफाए की योजना बनाई जा रही है। SC/ST समाज के कुछ लोगो की  उनत्ति भी लोग पचा नहीं पा  रहे हैं । 

बाबासाहेब श्री बी .आर .आंबेडकर के त्याग ,बलिदान व आरक्षण का लाभ लेकर SC/ST समाज कुछ लोग आगे बढ़ जाते हैं  तो अपने समाज को ही भूल जाते हैं और अपने को ELITE और उच्च मानने लगते हैं और समाज से कट जाते हैं,समाज को भूलने लगते हैं । यदि  बाबासाहेब श्री बी .आर .आंबेडकर ने भी यही बात सोची होती तो समाज के ऐसे ELITE लोग  कहाँ  होते । इस समाज के विकसित लोगो को तो ये चाहिए की उन्हें उपरवाले ने आगे बढ़ने का मौका दिया तो वो औरो को आगे बढ़ाये  व SC/ST समाज को विकसित बनाने में अपना सहयोग दें । SC/ST समाज में बुराई -अच्छाई दोनों है । इतिहास गवाह है की इस समाज की बुराई  को मिटाने और विकसित बनाने में बहुत से बुद्धिजीवियों ने अपना बलिदान दिया है ,त्याग किया है ।उनके त्याग और बलिदान का कृपया सम्मान करें ।  SC/ST दोनों ही दुसरे लोगो के सताए हुए हैं तथा दोनों ही संविधान में वर्णित SCHEDULE  में ही आते  हैं । दुसरे लोगो के द्वारा अपने फायदे के लिये  SC/ST दोनों को  करने अलग करने का प्रयास हो रहा है जिससे ये SC/ST समाज कभी भी एक मजबूत स्तम्भ  न बन  सके ।दुसरे के अलगाववादी नीति  को इस समाज के लोग समझ नहीं पा  रहे और आपस में ही एक दुसरे से श्रेष्ठ साबित करने में अपना दिमागी संतुलन  खो रहे हैं। जब  बाबासाहेब श्री बी .आर .आंबेडकर ने SC/ST में फर्क नहीं किये तो हम और आप फर्क कैसे कर सकते हैं ।  पहले से ही SC (1500 जातियों ) व  ST (1000 जातियों  ) बटे हुए हैं फिर भी इनकी नींद नहीं खुल रही ।
चुकी संबिधान में ये SC/ST के रूप में वर्णित हैं इसलिए इन्हें सिर्फ अपने को SC/ST के रूप में ही एक दुसरे के पूरक बन कर रहना चाहिए न की जातियो में बटकर रहना चाहिए। 

आज  जो SC/ST समाज की स्थिति है उसका मुख्य कारण  असंगठित ,अशिक्षा  ,गरीबी ,भू-माफिया,भेदभाव व अन्य । इस समाज के लोगो को ही दलाल बनाकर SC/ST लोगों  के भूमि ,जंगल ,मानव-सम्पदा ,खनिज व अन्य पर खुलेआम कब्ज़ा किया जा रहा है । साथ ही हमारे समाज की लडकियों की पशुओं की तरह खुलेआम
खरीद -बिक्री हो रही  है,गुलाम-बंधुआ बनाया जा रहा है ।  थोड़े से पैसे ,शराब,हडिया ,मांस -मछली ,लालच दिखाकर  चुनाव में  वोट हथिया लिया जाता है और इस समाज को पुनः और पीछे धकेल दिया जाता है । 

साथ ही ये भी देखा जाता है की SC/ST से जो लोग आगे बढ़ जाते हैं ,चाहे वो अधिकारी हों ,जनप्रतिनिधि  हों ,व्यावसायिक हों या अन्य हों । उनके यहाँ ऑफिस स्टाफ से लेकर घरेलु स्टाफ तक के पदों पर ऊची जाति के लोग कब्ज़ा जमा लेते हैं लेकिन ऊची जाति  के लोग चाहे वो अधिकारी हों ,जनप्रतिनिधि  हों ,व्यावसायिक हों या अन्य हों ।  ऑफिस स्टाफ से लेकर घरेलु स्टाफ के पदों पर अपने ही लोगो को यथासंभव मौका देते हैं ।
जरा सोचिये ...........................आपने अपने हाथों से ही अपने समाज के विकास को जाने -अनजाने में कितना नुकसान पहुचाया । 

 बाबासाहेब श्री बी . आर . आंबेडकर इस बात को भली -भाती  जानते थे की SC/ST समाज को आरक्षण से कबतक सुरक्षित रहेगा । इसलिए SC/ST समाज को सुरक्षित ,सशक्त व विकसित बनाने हेतु उन्होंने तीन  सिद्धांत दिए : संगठित बनो , शिक्षित बनो ,और   संघर्श करो । यहाँ  हमने आरक्षण तो ले लिया लेकिन अपने स्वार्थ की वजह से  बाबासाहेब श्री बी .आर .आंबेडकर के सिद्धांत भूल गए । आंखे बंद कर लेने से समस्याए ख़त्म नहीं हो जाती । अगर समय रहते नहीं चेते तो हजारों वर्षों  में भी SC/ST समाज की स्थिति में बदलाव असंभव है  । ये आपके ऊपर है की अपनी आने वाली पीढ़ी को कैसा समाज देंकर जायेंगे । 

हम अपने SC/ST समाज के लोगो से निवेदन करते है की  अपने  छोटे -बड़े फायदे के लिए अपने समाज के लोगो के साथ राजनीति ,दलाली ,धोखेबाजी  करने से बचे और साथ ही अपने समाज से जो लोग आगे बढ़ गए,बढ़ रहे  हैं उनसे जलन न रखे । आपसी मनमुटाव ,आपसी भेदभाव व  आपसी जलन का फायदा उठाकर दुसरे लोग इस समाज के लोगो को ही आपस में लड़ाकर शोषण करते हैं,फायदा उठाते हैं और SC/ST समाज पिछड़ा ही रह जाता है । 

चुकि हमें अपने  SC/ST समाज के प्रति  बेहद लगाव है .चिंता है ,मोह है ,इस वजह से सामाजिक बिखराव को समेटने हेतु व समाज को संगठित ,शिक्षित ,आर्थिक - सामाजिक विकास हेतु SAJAJJM  की ओर  से एक इमानदार प्रयास। 

महोदय / महोदया  ,यदि आप बाबासाहेब श्री बी .आर .आंबेडकर के माननेवाले अनुयायी हैं और आपकी भी  सोच  हमसे मिलती हो ,अपने समाज के प्रति लगाव हो तो कृपया पूर्णरूप से हमें  सहयोग दे।  अपने मूल्यवान विचारों ,अनुभवों से मजबूती प्रदान करें ताकि हमारा MISSION  कामयाब हो तथा SC/ST समाज को एक नयी दिशा मिल सके । 
                                                              सधन्यबाद 

 MISSION को कामयाब बनाने हेतु आर्थिक मदद की आवश्यकता है।आपके थोड़े से सहयोग से आपको कोई फर्क नहीं पड़ेगा लेकिन आपका ये महत्वपूर्ण और निस्वार्थ सहयोग अपने SC/ST समाज को नयी दिशा और मजबूति दे सकता है। कृपया दान  / सहयोग  दे।
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      रांची ,झारखण्ड
 



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Ranchi, Jharkhand

1 comment:

  1. मेरी शुभ कामना है की ये मिशन सफल हो।
    डॉ. पुरुषोत्तम मीणा 'निरंकुश'
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